नई दिल्ली । अमेरिका की आर्थिक मंदी के समय सारी दुनिया में अपना अस्तित्व जमाने वाले मुकेश अंबानी की चुप्पी, सारी दुनिया के देशों के उद्योगपतियों को हैरत में डाल रही है। भारतीय उद्योगपति गौतम अडानी ने पिछले वर्षों में जिस तरह से मुकेश अंबानी सहित दुनिया के बड़े बड़े कारपोरेट के लिए चुनौती बनकर सामने आए हैं। दुनिया के सर्वाधिक धनी लोगों में अडानी समूह का नाम चौथे नंबर पर पहुंच गया है। इसको लेकर सारी दुनिया के उद्योगपतियों में अटकलों का बाजार गर्म है।
रिलायंस इंडस्ट्रीज और मुकेश अंबानी ने सारी दुनिया में साख थी कि भारत में उनके सरकार और ब्यूरोक्रेट के साथ अच्छे संबंध हैं। उनके साथ मिलकर भारत में व्यापार करने की असीम संभावनाएं हैं। केंद्र की सरकार में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के रहते हुए,जिस तरह से अडानी समूह को प्राथमिकता मिल रही है। रिलायंस इंडस्ट्रीज को नजरअंदाज किया जा रहा है। उसको लेकर रिलायंस इंडस्ट्रीज में काफी बेचैनी देखी जा रही है। मुकेश अंबानी शेयर बाजार के अजेय योद्धा बने हुए थे। अब यह ख़िताब गौतम अडानी के पास है।
मुकेश अंबानी दुनिया के धनी आदमी की सूची में 11वें नंबर पर पहुंचकर बेबस महसूस कर रहे हैं। गुजरात के मुख्यमंत्री नरेंद्र भाई मोदी को प्रधानमंत्री बनाने के लिए मुकेश अंबानी ने भारी जोड़-तोड़ की थी। भारी निवेश भी किया था। प्रधानमंत्री बनने के बाद मोदी जी का झुकाव गौतम अडानी के ऊपर होने से मुकेश अंबानी के पास चुप रहने के अलावा कोई चारा भी नहीं बचा है। कारपोरेट घरानों की चर्चाओं में यह कहा जा रहा है, मुकेश अंबानी को समय का इंतजार है। समय आने पर वह कोई बड़ा धमाका करेंगे।